पत्नी को भरण-पोषण की राशि देने के लिए एक पति जयपुर कोर्ट में 55 हजार रुपए के सिक्के लेकर पहुंचा। सिक्के देखकर पत्नी ने इसका विरोध किया, तो पति ने कहा कि यह वैध भारतीय मुद्रा है इसे स्वीकार किया जाए। इस पर कोर्ट ने पति को आदेश दिया कि वह अगली तारीख को कोर्ट में सिक्कों की गिनती करवाकर एक-एक हजार की थैलियां बनाकर पत्नी को दे।
दरअसल, यह पूरा मामला पारिवारिक विवाद से जुड़ा हुआ है। पति दशरथ कुमावत की शादी करीब 10 साल पहले सीमा से हुई थी। शादी के 3-4 साल बाद ही दोनों के बीच विवाद होने से पति ने कोर्ट में तलाक के लिए अर्जी दायर कर दी। फैमिली कोर्ट ने पति को हर महीने पत्नी को भरण-पोषण के पांच हजार रुपए देने के निर्देश दिए।
ऐसे में पति पिछले 11 माह से यह राशि पत्नी को नहीं दे रहा था। इसके बाद कोर्ट ने पति के खिलाफ वसूली वारंट जारी किया। इसके बाद भी राशि नहीं चुकाने पर यह गिरफ्तारी वारंट में तब्दील हो गया। ऐसे में हरमाड़ा थाना पुलिस ने पति को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया। राशि चुकाने पर कोर्ट ने पति को जमानत पर रिहा कर दिया।
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