राजस्थान यूनिवर्सिटी के केमिस्ट्री विभाग के एक प्रोफेसर ने 4 सितंबर को अपनी 89 वर्षीय मां रवि किरण जोशी को फोर्टिस अस्पताल में भर्ती कराया, और उसके बाद से वह लौटकर नहीं आया। लगभग सवा महीने बीत चुके हैं, लेकिन बेटा अभी तक वापस नहीं आया है। अस्पताल प्रशासन ने बेटे से संपर्क करने की कोशिश की, लेकिन उनका फोन बंद पाया गया। इस बीच, अस्पताल के डॉक्टर और स्टाफ ने बुजुर्ग महिला की देखरेख अपनी जिम्मेदारी समझकर शुरू कर दी है। साथ ही जवाहर सर्किल थाने में इसकी सूचना भी दी गई हे।
4 सितंबर को भर्ती कराया गया
डॉ. पंकज आनंद, जो फोर्टिस अस्पताल में बुजुर्ग महिला का इलाज कर रहे हैं, उन्होंने बताया कि प्रोफेसर राहुल जोशी ने अपनी मां को 4 सितंबर को अस्पताल में डीलक्स रूम में भर्ती करवाया था। जब उनके स्वास्थ्य में सुधार नहीं हुआ, तो 7 सितंबर को उन्हें आईसीयू में स्थानांतरित किया गया। चार दिन के आईसीयू इलाज के बाद उनकी तबियत में सुधार हुआ और उन्हें वार्ड में शिफ्ट कर दिया गया।
बेटे ने आने से किया इनकार
जब महिला को वार्ड में शिफ्ट किया गया, तो अस्पताल ने उनके बेटे से संपर्क किया। राहुल जोशी ने खुद को अकेला बताते हुए अस्पताल आने से मना कर दिया। इसके बाद अस्पताल प्रशासन प्रोफेसर के घर पहुंचा, लेकिन वहां उनके बेटे ने मानसिक रूप से असामान्य हरकतें करना शुरू कर दिया। अस्पताल ने प्रोफेसर के दूसरे बेटे, अनुराग जोशी, जो दिल्ली में इग्नू में प्रोफेसर हैं, से भी संपर्क किया, लेकिन उनसे भी कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली।
अस्पताल का स्टाफ कर रहा देखभाल
डॉ. पंकज आनंद ने बताया कि महिला की देखभाल के लिए अब अस्पताल का स्टाफ ही जिम्मेदारी उठा रहा है। डॉक्टर आनंद स्वयं दिन में दो बार उनका हालचाल लेने जाते हैं। सुरक्षा गार्ड और अस्पताल के कर्मचारी बुजुर्ग महिला की देखभाल करते हैं, उनके कपड़े बदलते हैं और उनका ध्यान रखते हैं।
पुलिस ने नहीं हो पाया संपर्क
जवाहर सर्किल थाने के थानाधिकारी विनोद सांखला ने बताया कि अस्पताल प्रशासन की सूचना पर प्रोफेसर राहुल जोशी से संपर्क करने की कोशिश की गई, लेकिन उनका फोन बंद पाया गया। राहुल जोशी फिलहाल दिल्ली में रहते हैं।
News Source : NDTV Rajasthan